नई दिल्ली। भारत में अब बिना टेस्टिंग के विदेशी डिवाईसेज को नहीं बेचा और खरीदा जा सकेगा। मोदी सरकार के एक नए आदेश के अनुसार देश की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए यह निर्णय लिया गया है। टेलीकॉम विभाग द्वारा जारी किए गए एक नोटिफिकेशन के अनुसार विदेश से आने वाले सभी इलेक्ट्रॉनिक डिवाईसेज की लैब में टेस्टिंग और सर्टिफिकेशन किया जाएगा। टेस्टिंग में ठीक पाए जाने पर ही उसे बाजार में बेचा जा सकेगा। टेलीकॉम विभाग का नया आदेश जुलाई 2022 से लागू हो जाएगा।
ये सभी डिवाइस किए जाएंगे टेस्ट
केन्द्र सरकार ने इस संबंध में एक लिस्ट भी जारी की है जिसमें टेस्टिंग किए जाने वाले प्रोडक्ट्स के बारे में बताया गया है। सरकार द्वारा जारी की गई लिस्ट के अनुसार स्मार्ट वॉच, ट्रैकिंग डिवाइस, स्मार्ट कैमरा, स्मार्ट इलेक्ट्रिसिटी मीटर , टेलीकॉम नेटवर्क्स के लिए बेस टॉवर स्टेशन को शामिल किया गया है। इसके साथ ही अगले स्टेप में राउटर, ट्रांसमिशन इक्विपमेंट्स, ऑप्टिकल फाइबर, प्वॉइंट ऑफ सेल डिवाइस, लैन स्विच तथा अन्य कई प्रोडक्ट्स को शामिल किया जाएगा। इन सभी प्रोडक्ट्स की टेस्टिंग और सर्टिफिकेशन किया जा सके, इसले लिए देश में लैब्स की संख्या भी बढ़ाई जा रही हैं।
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फरवरी 2022 से शुरू होगी टेस्टिंग
टेलीकॉम विभाग द्वारा जारी नोटिफिकेशन के अनुसार किसी भी विदेशी डिवाईस को देश में टेस्टिंग और सर्टिफिकेशन के बाद ही आयात किया जा सकेगा।विभाग ने इसके लिए उन सभी प्रोडक्ट्स की लिस्ट भी जारी की है, जिनकी टेस्टिंग अनिवार्य होगी। टेस्टिंग और सर्टिफिकेशन का कार्य फरवरी 2022 से शुरू कर दिया जाएगा। देश की जनता के डेटा तथा सुरक्षा चिंताओं को मद्देनजर रखते हुए ही डिवाईस में किसी भी तरह की सुरक्षा खामी की जांच करने के लिए टेस्टिंग और सर्टिफिकेशन को अनिवार्य किया गया है।
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